‘वक्फ एक्ट’ के फैसले पर देश को ठप करने की धमकी! वायरल वीडियो से मचा सियासी बवाल

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'वक्फ एक्ट' के फैसले पर देश को ठप करने की धमकी!
'वक्फ एक्ट' के फैसले पर देश को ठप करने की धमकी!

वक्फ संशोधन अधिनियम को लेकर जहां सुप्रीम कोर्ट में सुनवाई की प्रक्रिया शुरू हो चुकी है, वहीं पश्चिम बंगाल से एक वीडियो सामने आया है जिसने राजनीतिक और सामाजिक हलकों में खलबली मचा दी है। भारतीय जनता पार्टी के वरिष्ठ नेता और पश्चिम बंगाल विधानसभा में नेता विपक्ष शुभेंदु अधिकारी ने एक मौलाना का वीडियो सोशल मीडिया पर साझा किया है, जिसमें वह कथित तौर पर सुप्रीम कोर्ट के फैसले के खिलाफ आने पर देशभर को ठप करने की धमकी देता नजर आ रहा है।

वीडियो में मौलाना की धमकी: फैसला पक्ष में नहीं आया तो सड़कों पर उतरेंगे

यह वीडियो उत्तर दिनाजपुर जिले के एक मौलाना का बताया जा रहा है, जो खुद को अखिल भारतीय इमाम संघ का जिला अध्यक्ष बताता है। वीडियो में वह कहता है कि यदि वक्फ संशोधन अधिनियम को सुप्रीम कोर्ट खारिज कर देता है, तो वे शांतिपूर्ण रहेंगे। लेकिन यदि कोर्ट का फैसला उनके पक्ष में नहीं आया और वक्फ कानून में कोई भी बदलाव स्वीकार कर लिया गया, तो वे सड़कों और गलियों को जाम कर देंगे।

उसने यह भी कहा कि हम इस फैसले की तारीख का इंतजार कर रहे हैं। यदि फैसला हमारे खिलाफ आता है, तो हर जगह रेल रोकी जाएगी, गांवों से आंदोलन शुरू होगा और भारत को ठप कर दिया जाएगा। सिर्फ बंगाल ही नहीं, पूरे देश में इसका असर होगा।

शुभेंदु अधिकारी का सवाल: सुप्रीम कोर्ट को धमकी देना क्या सही है?

वीडियो सामने आते ही शुभेंदु अधिकारी ने इसे एक्स (पूर्व में ट्विटर) पर साझा करते हुए तीखा सवाल उठाया। उन्होंने लिखा, “क्या यह भारत के सर्वोच्च न्यायालय के लिए खतरा नहीं है? अगर फैसला इनके पक्ष में नहीं आया, तो सड़कें और रेलवे लाइनें जाम की जाएंगी। ये न केवल बंगाल, बल्कि पूरे भारत को ठप करने की धमकी दे रहे हैं।”

उन्होंने यह भी कहा कि सबसे हैरान करने वाली बात यह है कि ऐसे भड़काऊ बयान देने वालों के खिलाफ कोई कानूनी कार्रवाई नहीं की जा रही है। अधिकारी ने सीधे तौर पर राज्य की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी पर निशाना साधते हुए कहा कि वे इन ‘कट्टरपंथियों’ को गिरफ्तार कराने के बजाय मंच साझा कर रही हैं।

ममता बनर्जी पर हमला: कट्टरपंथियों के साथ मंच साझा करने का आरोप

शुभेंदु अधिकारी ने ममता सरकार पर आरोप लगाते हुए कहा कि कानून और व्यवस्था राज्य का विषय है, लेकिन राज्य सरकार इस विषय पर चुप है। उन्होंने कहा कि ममता बनर्जी वक्फ संशोधन अधिनियम के खिलाफ आंदोलन करने वालों के साथ मंच साझा कर रही हैं, जिनमें ऐसे तत्व भी शामिल हैं जो खुलेआम देश को ठप करने की बात कर रहे हैं।

सुप्रीम कोर्ट में वक्फ कानून की सुनवाई आज से

इस पूरे विवाद की जड़ में वक्फ संशोधन अधिनियम 2025 है, जिसे लेकर सुप्रीम कोर्ट में आज से सुनवाई शुरू हो चुकी है। इस अधिनियम के खिलाफ और समर्थन में अब तक 70 से अधिक याचिकाएं दायर की जा चुकी हैं। इसमें कई मुस्लिम संगठनों और नेताओं ने इसे असंवैधानिक बताते हुए चुनौती दी है, जबकि केंद्र सरकार ने इसे पारदर्शिता लाने वाला कदम बताया है।

देश के संवैधानिक संस्थानों को लेकर धमकी देना गंभीर मुद्दा है। लोकतंत्र में विरोध और मतभेद की गुंजाइश होती है, लेकिन हिंसा और अराजकता की भाषा का कोई स्थान नहीं होना चाहिए। ऐसे में इस मामले में पुलिस और प्रशासन की निष्क्रियता पर भी सवाल उठना स्वाभाविक है।