गर्मियों में बढ़ता तापमान बन सकता है जानलेवा, पहचानें हीट स्ट्रोक और डिहाइड्रेशन के लक्षण

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गर्मियों में बढ़ता तापमान बन सकता है जानलेवा
गर्मियों में बढ़ता तापमान बन सकता है जानलेवा

गर्मियों में जैसे-जैसे पारा चढ़ता है, वैसे-वैसे हमारे शरीर पर इसका असर गहराने लगता है। बढ़ी हुई गर्मी के कारण शरीर का ताप संतुलन गड़बड़ाने लगता है और पानी की कमी से कई समस्याएं जन्म लेती हैं। इनमें हीट स्ट्रोक और डिहाइड्रेशन दो सबसे गंभीर हालात हैं, जो समय रहते न संभाले जाएं तो जान तक को खतरा हो सकता है। आइए जानते हैं इनके मुख्य संकेत कौन-कौन से हैं।

हीट स्ट्रोक के प्रमुख संकेत

तेज बुखार और सिर में असहनीय दर्द

हीट स्ट्रोक की शुरुआत शरीर के अत्यधिक गर्म हो जाने से होती है। इससे व्यक्ति को तेज बुखार और अलग किस्म का सिरदर्द महसूस हो सकता है। यह संकेत दर्शाता है कि शरीर का कूलिंग सिस्टम जवाब दे रहा है।

त्वचा का सूख जाना और लाली

गर्मी में पसीना आना आम बात है, लेकिन जब पसीना आना बंद हो जाए और त्वचा रूखी, लाल और गर्म हो जाए तो यह गंभीर खतरे का इशारा है। इसका मतलब है कि शरीर का तापमान खतरनाक स्तर तक पहुंच गया है।

डिहाइड्रेशन के लक्षण

पेशाब की कमी या रंग में बदलाव

शरीर में पानी की कमी को सबसे पहले पेशाब के जरिए पहचाना जा सकता है। पेशाब कम होना या उसका रंग गाढ़ा हो जाना डिहाइड्रेशन की ओर इशारा करता है।

थकावट और चक्कर आना

जब शरीर में तरल की मात्रा कम हो जाती है, तो ब्लड प्रेशर गिरता है जिससे चक्कर, कमजोरी और थकावट महसूस होती है। कुछ मामलों में व्यक्ति संतुलन भी खो सकता है।

हीट स्ट्रोक और डिहाइड्रेशन: समान संकेत

इन दोनों स्थितियों में व्यक्ति की मानसिक स्थिति भी प्रभावित हो सकती है। चिड़चिड़ापन, उलझन, धीमी प्रतिक्रिया और बोलने में परेशानी जैसे लक्षण सामान्य हैं।

खुद को कैसे रखें सुरक्षित?

तेज धूप से बचना, ढीले व हल्के कपड़े पहनना, शरीर को हाइड्रेटेड रखना और नियमित अंतराल पर पानी पीना बेहद जरूरी है। अगर किसी को इन लक्षणों में से कोई भी दिखे, तो तुरंत चिकित्सकीय मदद लेना सबसे बेहतर विकल्प है। सही वक्त पर उठाए गए कदम हीट स्ट्रोक और डिहाइड्रेशन से बचा सकते हैं।

Disclaimer: इस लेख में दी गई जानकारी विभिन्न मीडिया रिपोर्ट्स पर आधारित है। किसी भी सलाह को अपनाने से पहले योग्य विशेषज्ञ की राय जरूर लें।