इस वक्त भारतीय विदेश मंत्री सुषमा स्वराज बांग्लादेश के दो दिवसीय यात्रा पर हैं। ऐसे में आज बांग्लादेश के दौरे का अंतिम दिन हैं। इस दौरान सुषमा स्वराज ने भारत और बांग्लादेश के रिश्तों को और मजबूती बनाने की बात कही। उन्होंने कहा कि , भारत की हमेशा से नीति पहले पड़ोसी की रही है। साथ ही बांग्लादेश कि विकास को बढ़ावा देते हुए कहा कि, पहले पड़ोसी के तहत हम चाहते हैं कि बांग्लादेश और तरक्की करें।
बांग्लादेश की यात्रा के दौरान सुषमा स्वराज ने रोहिंग्या मुद्दे पर बात करते हुए कहा कि, पीएम नरेंद्र मोदी ने म्यांमार की नेता आंग सान सू ची को सलाह दी थी रोहिंग्या मुद्दे पर अपनी छवि ‘बर्बाद’ नहीं करें।
इस दौरान विदेश मंत्री सुषमा स्वराज ने ढाका स्थित भारतीय उच्चायोग में आज नये चांसरी परिसर का उद्घाटन किया।
बांग्लादेश और भारते के रिश्ते को लेकर सुषमा स्वराज ने कहा, ‘भारत और बांग्लादेश के बीच अब भी कई मुद्दे ऐसे हैं, जो सुलझे नहीं हैं। साथ ही कहा कि अगर दोनों देशों के बीच मुद्दे को सुलझाना है तो हम दोनों को मिलकर ही इन मुद्दों को सुलझाना है।
विदेश मंत्री सुषमा स्वराज ने कहा है कि म्यांमार के रखाइन में हिंसा की वारदात से भारत चिंतित है। उन्होंने कहा कि हमने म्यांमार को नसीहत दी है कि हालात को संयम के साथ सुलझाया जाए, साथ ही लोगों के हित को ध्यान में रखा जाए।
इससे पहले रविवार को बांग्लादेश की यात्रा पर पहुंची सुषमा बांग्लादेश-भारत संयुक्त सलाहकार आयोग की बैठक की। उसके बाद ने देर रात हसीना से मुलाकात की। इस दौरान दोनों के बीच रोहिंग्या आतंकी और दोनों देशों के रिश्तों को लेकर लंबी समय तक चर्चा हुई। इस दौरान फैसला लिया कि, समाज को अलगावादी, नस्ली व आतंकी हमलों से बचाने के लिए दोनों देश मिलकर काम करेंगे।
सुषमा स्वराज ने कहा कि भारत बांग्लादेश के लोगों को उनके लिए अत्यंत आवश्यक 660 मेगावाट ऊर्जा की आपूर्ति कर रहा है और भविष्य में यह तिगुना नहीं, तो दोगुना अवश्य होगी। हम अंतरराष्ट्रीय सौर गठबंधन के संस्थापक सदस्यों के तौर पर मिलकर काम करेंगे, जिसके लिए बांग्लादेश ने अपने शामिल होने की पुष्टि की है। इस गठबंधन द्वारा सौर ऊर्जा को सस्ता बनाने की संभावना है।