इलाहाबाद हाई कोर्ट ने अखिलेश सरकार में कैबिनेट मंत्री रहे गायत्री प्रजापति को रेप मामले में दी गई जमानत पर शुक्रवार को रोक लगा दी है। सरकार ने हाईकोर्ट से कहा, ‘ये सीरियस मैटर है। सबूतों को बिना देखे ही प्रजापति को जमानत दी गई है।’ प्रजापति को यौन उत्पीड़न मामले में गिरफ्तार किया गया था। बुधवार को ही वह लखनऊ की जिला जेल से रिहा हुए थे।

High Court suspended judge after granting bail to gayatriप्रजापति को जमानत देने वाले न्यायधीश ओम प्रकाश मिश्र को हाईकोर्ट ने निलंबित कर दिया है। उनके सभी अधिकारों को सीज कर दिया गया है। इससे पहले मामले में सुप्रीम कोर्ट ने इसी सोमवार को महिला और उसके परिवार को सुरक्षा देने के आदेश दिये थे।

गायत्री प्रजापति के वकील सुनील सिंह ने कहा था, ‘कोर्ट ने गायत्री और दो अन्य आरोपियों को एक-एक लाख के बॉन्ड और एक-एक लाख के मुचलके पर जमानत दी। महिला ने जो आरोप लगाए, उसके सबूत नहीं दे पाई है और उनका मेडिकल भी कभी नहीं हुआ है। लड़की के बयान आरोपों के बिलकुल उलट हैं। लड़की ने मजिस्ट्रेट के सामने बयान में कहा कि मैं गायत्री को नहीं पहचानती हूं और मेरे साथ रेप नहीं किया गया।’