देश की आर्थिक मुंबई इस समय गरीब किसानों के आंसुओं से भीग रही हैं। इस समय करीब 30 हजार किसान अपने सभी काम-धंधों को छोड़कर अपने हक की लड़ाई लड़ने के लिए सड़कों पर उतर आए हैं। सरकार से नाराज ये किसान अपनी बुनियादी मांगों को पूरा कराने के लिए आंदोलनरत हैं। नासिक से मुंबई तक 150 किलोमीटर तक की पदयात्रा करके किसानों का समूह रेला आजाद मैदान में जमा है। यहां से ये किसान विधानसभा को घेरने के लिए निकलेंगे। बता दे, बच्चों की परीक्षा को ध्यान में रखते हुए किसानों ने 11 बजे के बाद प्रदर्शन का फैसला किया है।

30 thousand farmers landed on the roadsये हैं किसानों की मांगे-

  • सभी किसानों के बकाया कर्ज माफ किए जाएं।
  • संजय गांधी निराधार योजना का लाभ सभी किसानों को दिया जाए।
  • सहायता राशि 600 रुपए प्रतिमाह से बढ़ाकर 3000 रुपए प्रतिमाह तक की जाए।
  • कृषि उपज की लागत मूल्य के अलावा 50 प्रतिशत लाभ दिया जाए।
  • नदी जोड़ योजना के तहत महाराष्ट्र के किसानों को पानी दिया जाए।
  • वन्य जमीन पर पीढ़ियों से खेती करते आ रहे किसानों को जमीन का मालिकाना हक दिया जाए।
  • स्वामीनाथन आयोग की सिफारिशों को लागू किया जाए।

इस संबंध में महाराष्ट्र के मुख्यमंत्री देवेंद्र फडणवीस ने रविवार रात कहा, कि उनकी सरकार इस मुद्दे पर किसानों के साथ बातचीत करने के लिए तैयार है। इसलिए कृपया करके आंदोलनरत किसान सोमवार को शहर में यातायात को बाधित न करें। साथ ही उन्होंने किसानों से शांति बनाए रखने की भी अपील की ताकि शहर में दसवीं की परीक्षा देने वाले छात्रों को परीक्षा देने में परेशानी का सामना न करना पड़े।