भारत में कोरोना के खात्मे की शुरुआत आज से हो गई है। पूरी दुनिया की निगाहें भारत पर टिकी हैं। आज प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के जरिए देशभर में 3 हजार केंद्रों पर टीकाकरण कार्यक्रम की शुरुआत की। भारत में पहले दिन तीन लाख से ज्यादा स्वास्थ्यकर्मियों को कोरोना वायरस के टीके की खुराक मिलेगी।
पीएम मोदी ने कहा कि आज के दिन का पूरे देश को बेसब्री से इंतजार रहा है, कितने महीनों से देश के हर घर में बच्चे, बूढ़े, जवान सबकी जुबान पर ये ही सवाल था कि कोरोना की वैक्सीन कब आएगी। आज वो वैज्ञानिक, वैक्सीन रिसर्च से जुड़े अनेकों लोग विशेष प्रशंसा के हकदार हैं, जो बीते कई महीनों से कोरोना के खिलाफ वैक्सीन बनाने में जुटे थे। आमतौर पर एक वैक्सीन बनाने में बरसों लग जाते हैं। लेकिन इतने कम समय में एक नहीं, दो मेड इन इंडिया वैक्सीन तैयार हुई हैं।
इस मौके पर पीएम मोदी ने कहा कि ऐसे ही दिन के लिए राष्ट्रकवि रामधारी सिंह दिनकर ने कहा था कि मानव जब जोर लगाता है तो पत्थर पानी बन जाता है। हमने वो दिन भी देखा है कि इस बीमारी में मां चाह कर भी अपने बच्चे को सीने से नहीं लगा सकती थी। इस बात कर की चर्चा करते हुए प्रधानमंत्री भावुक हो गए कि हमारे कई भाई बंधुओं ने अपने जान तो खोई ही उन्हें अंतिम विदाई भी हम ढंग से नही दे पाए।
पीएम मोदी ने कहा- आमतौर पर बीमारी में परिवार पास रहता है लेकिन इस बीमारी ने तो बीमार को परिवार से ही दूर कर दिया। कोरोना काल को याद कर के मन सिहर जाता है। कोरोना काल में मां को बच्चे से दूर रहना पड़ा। कई साथी अस्पताल से घर वापस नहीं लौट पाए।
पीएम ने कहा कि भारत का टीकाकरण अभियान बहुत ही मानवीय और महत्वपूर्ण सिद्धांतों पर आधारित है। जिसे सबसे ज्यादा जरूरी है, उसे सबसे पहले कोरोना का टीका लगेगा। साथ ही पीएम ने जनता को आगाह किया कि कोरोना वैक्सीन की 2 डोज लगनी बहुत जरूरी है। पहली और दूसरी डोज के बीच लगभग एक महीने का अंतराल भी रखा जाएगा। दूसरी डोज़ लगने के 2 हफ्ते बाद ही आपके शरीर में कोरोना के विरुद्ध ज़रूरी शक्ति विकसित हो पाएगी।