सरकार के अंडमान, निकोबार के 3 द्वीपों के नाम बदलने के निर्णय का स्वागत करते हुये पूर्व राज्यसभा सदस्य एवं उद्योगपति संजय डालमिया ने कहा है कि करीब 23 वर्ष पहले उन्होंने एक निजी विधेयक के माध्यम से यह मांग की थी। डालमिया ने शनिवार को यहां जारी बयान में कहा कि 20 वर्ष से भी ज्यादा समय बीत जाने के बाद अब उनका सपना सच होने जा रहा है।
वर्ष 1995 में उन्होंने सांसद के रूप में एक निजी विधेयक लाकर अंडमान निकोबार द्वीप समूह का नाम बदलकर ‘शहीद’ और ‘स्वराज’ द्वीप करने की मांग की थी जहां नेताजी सुभाष चंद्र बोस ने 75 साल पहले आजाद हिंद फौज का झंडा फहराया था। उन्होंने कहा कि अब केंद्र सरकार ने अंडमान निकोबार द्वीप समूह के तीन द्वीपों के नामों में बदलाव करने का फैसला किया है जो स्वागतयोग्य है।
प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी 30 दिसंबर को पोर्टब्लेयर में एक कार्यक्रम में अंडमान निकोबार के तीन द्वीपों के नाम बदलने की घोषणा करने वाले हैं। इसमें रोस आइलैंड का नाम बदलकर नेताजी सुभाषचंद्र बोस, नील आइलैंड का नाम शहीद द्वीप और हैवलॉक आइलैंड का नाम स्वराज द्वीप किया जायेगा।
-साभार, ईएनसी टाईम्स