पीएनबी घोटाले पर सरकार एक्शन मोड पर आ गई है। नोटबंदी के बाद अब ये दूसरी बार होगा जब बड़े-बड़े बैंक अधिकारी अपने पद से हटाए जाएंगे। बता दें कि भारतीय बैंकों को 13 हजार करोड़ रुपए का नुकसान पहुंचाकर हीरा कारोबारी नीरव मोदी देश छोड़कर भाग गया। हालांकि लगभग कई करोड़ रुपए की संपत्ति जब्त करके सरकार अपना कुछ पैसा वसूलने में कामयाब हुई है। लेकिन अभी भी हजारों करोड़ रुपए सरकार के फंसे हैं। लेकिन नीरव मोदी को मदद पहुंचाने वाले और बैंकों में लापरवाही बरतने वाले बैंक अधिकारी अभी भी आजाद घूम रहे हैं इसलिए सरकार अब उन पर नकेल कसने की तैयारी कर रही है।

वित्त मंत्रालय के वित्तीय सेवा विभाग में सचिव राजीव कुमार ने बताया कि सरकार ने पीएनबी और इलाहाबाद बैंक के 3 बोर्ड अधिकारियों को हटाने के निर्देश दिए हैं। इन अधिकारियों में 2 पीएनबी के कार्यकारी निदेशक और एक इलाहाबाद बैंक के प्रबंध निदेशक हैं। राजीव कुमार ने मीडिया को बताया कि बैंकों को इन अधिकारियों को कार्यमुक्त करने के लिए नोटिस जारी कर दिया गया है। इस संबंध में पीएनबी की बोर्ड बैठक भी चल रही है। उन्होंने बताया कि पीएनबी ने इस बारे में अधिकारियों को हटाने का फैसला भी कर लिया है।

राजीव कुमार ने कहा कि सोमवार को सरकार ने पीएनबी और इलाहाबाद बैंक के निदेशकों (डायरेक्टर्स) को उन अधिकारियों से सारे अधिकार वापस लेने को कहा है जो जांच में दोषी पाए गए हैं। साथ ही, सरकार ने इन्सॉल्वंसी ऐंड बैंकरप्टसी कोड के तहत भी दागी लोगों पर शिकंजा कसने के प्रभावी कदम उठाए हैं। सरकार ने कहा कि कोई बैंक किसको, कितना और किन शर्तों पर लोन दे, यह तय करने की प्रक्रिया से सरकार हमेशा दूर रहती है।

LEAVE A REPLY

Please enter your comment!
Please enter your name here