पश्चिम बंगाल की धरती पर बीजेपी नेता और गृह मंत्री अमित शाह के देर रात पैर रखते ही सियासी पारा एकदम से गरम हो गया है। शनिवार को मिदनापुर की रैली में होम मिनिस्टर अमित शाह ने मुख्यमंत्री ममता बनर्जी पर जमकर निशाना साधा। उन्होंने रैली की शुरुआत ‘भारत माता की जय’ के उद्घोष के साथ शुरुआत की तो रैली के अंत में ‘जय श्री राम’, ‘भारत माता की जय’ और ‘वंदे मातरम’ के साथ भाषण खत्म किया। भाषण के शुरुआत में उन्होंने रैली में मौजूद लोगों से कहा कि दोनों हाथ उठाए और बदलाव की मुठ्ठी भिचे और इतनी जोर से नारा लगाए कि कलकत्ता में ममता दीदी के कान तक आवाज जाए। इस तरह से अमित शाह ने रैली के आखिर में लोगों से पहले तीन बार जय श्री राम और एक-एक बार भारत माता की जय और वंदे मातरम का नारा लगवाया। इसके साथ ही उन्होंने टीएमसी की सरकार को उखाड़ फेंकने का प्रण करवाया।

अमित शाह के साथ जुटी बीजेपी की पूरी टीम अगले विधान सभा चुनावों में तृणमूल कांग्रेस को उखाड़ फेंकने के लिए दिन रात एक की हुई है। पश्चिम बंगाल में आज एक साथ ममता के पाले से एक एमपी, नौ एमएलए, एक एक्स मिनिस्टर, एक एमओएस, 15 काउंसलर, 45 चेयरमैन और जिला पंचायत के दो अध्यक्ष अमित शाह की मौजूदगी में बीजेपी से जुड़े हैं। गृहमंत्री अमित शाह के दौरे की खास बात है कि उन्होंने बंगाल, बीजेपी और हिंदुत्व को जोड़ने वाले पड़ावों को इस यात्रा में शामिल किया है। ममता बनर्जी के गढ़ में सेंध लगा रहे हैं। ममता के खासम खास शुभेन्दु अधिकारी का बीजेपी में जाना ममता के लिए परेशानी भरा है।

शनिवार को अमित शाह रामकृष्ण मिशन पहुंचे। यहां उन्होंने कहा कि भारतमाता के महान पुत्रों में से एक, जिन्होंने स्वयं को राष्ट्र के पुनरुत्थान के लिए समर्पित किया। उन स्वामी विवेकानंद को श्रद्धांजलि। अमित शाह ने ट्वीट किया, ‘रामकृष्ण मिशन में कुछ समय बिताना और स्वामी विवेकानंदजी को श्रद्धांजलि देना मेरे लिए सौभाग्य की बात थी। वह भारतमाता के एक महान पुत्र हैं, जिन्होंने खुद को राष्ट्र के पुनरुत्थान के लिए समर्पित किया। उनके आदर्शों ने भारत को ज्ञान की नई रोशनी से रोशन किया है, जो अभी भी हमें प्रेरित करता है।’ अमित शाह ने कहा, ‘सौभाग्य की बात है कि मैं उस स्थान पर आया हूं जो न केवल भारत बल्कि पूरे विश्व के लिए चेतना जागृत करने का केंद्र है। स्वामी विवेकानंद जी ने आधुनिकता और अध्यात्म को जोड़ने का काम किया।’

अमित शाह खुदीराम बोस के पैतृक घर पहुंचे। यहां उन्होंने उनक मूर्ति पर माल्यापर्ण किया और उनके परिजनों से मुलाकात की। अमित शाह ने यहां ममता पर हमला बोलते हुए कहा, ‘सौभाग्य है कि खुदीराम के जन्मबोस की धरती पर आकर मिट्टी को सिर से लगाने का मौका मिला है। मैं आज यहां ओछी राजनीति करने वालों को बताने आया हूं कि खुदीराम बोस जितने बंगाल से थे, उतने ही भारत के थे। पंडित रामप्रसाद बिस्मिल जितने यूपी के थे उतने ही बंगाल के हैं। भारत के लिए संघर्ष करे वाले आजादी के लिए लड़ने वालों ने कभी इस प्रकार की ओछी राजनीतिक की कल्पना नहीं की थी। ओछी राजनीति करने वालों को इससे ऊपर आना चाहिए। मैं खुदीराम बोस के परिजनों के चरणों में प्रणाम करता हूं।’

रामकृष्ण मिशन विजिट के बाद शाह मिदनापुर में सिद्धेश्वरी काली के मंदिर पहुंचे। यहां उन्होंने मंदिर में दर्शन-पूजन की। इस दौरान उन्होंने मीडिया से बात नहीं की। उन्होंने कहा कि वह मंदिर में दर्शन और पूजा करने आए हैं।

जिस तरह गृह मंत्री अमित शाह कोलकाता में बंगाल के नायक स्वामी विवेकानंद के पैतृक घर पहुंचे, मिदनापुर के महामाया और सिद्धेश्वरी मंदिर और फिर खुदीराम बोस के पश्च‍िमी म‍िदनापुर स्थित पैतृक घर पर गए, उससे पश्चिम बंगाल की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी की टेंशन और बढ़ गई है।

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