कूनो के बड़े बाड़े में छोड़े गए दो चीते, PM ने वीडियो शेयर कर कही ये बात…

कुल 748 वर्ग किलोमीटर में है कूनो नेशनल पार्क

0
224
Cheetah In Kuno National Park
Cheetah In Kuno National Park

Cheetah In Kuno National Park: नामीबिया से भारत लाए गए 8 चीतों को पीएम मोदी ने अपने जन्मदिन पर यानी 17 सितंबर को मध्य प्रदेश के कूनो नेशनल पार्क में छोड़ा था। तब उन चीतों को तय समय के लिए छोटे बाड़े में रखा गया था। इस बाड़े में विशेषज्ञों के द्वारा हर समय चीतों की देखभाल की गई। अब उनमें से दो चीतों को बड़े बाड़े में छोड़ दिया गया है। इसकी जानकारी खुद पीएम ने ट्वीट करके भी दी है। उन्होंने अपने ट्विटर अकाउंट से बड़े बाड़े में छोड़े गए चीतों की एक वीडियो भी शेयर की है।

Cheetah In Kuno National Park
Cheetah In Kuno National Park

Cheetah In Kuno National Park: मुझे खुशी है कि सभी चीते हैं स्वस्थ-पीएम मोदी

बता दें कि कई सालों के सर्वेक्षण के बाद यह तय किया गया था कि कूनो नेशनल पार्क ही चीतों के लिए सबसे सुरक्षित और उचित जगह है। उसके बाद 8 चीतों को कूनो में छोड़ा गया था। अब दो चीतों को क्वारंटाइन के बाद से बड़े बाड़े में छोड़ दिया गया है। इसको लेकर पीएम मोदी ने ट्वीट करके कहा “बढ़िया खबर! अनिवार्य क्वारंटाइन के बाद, 2 चीतों को कुनो निवास स्थान में और अनुकूलन के लिए एक बड़े बाड़े में छोड़ दिया गया है। अन्य को जल्द ही छोड़ दिया जाएगा। मुझे यह जानकर भी खुशी हुई कि सभी चीते स्वस्थ हैं, सक्रिय हैं और अच्छी तरह से तालमेल बिठा रहे हैं।” पीएम ने अपने ट्विटर पर इन दो चीतों को बड़े बाड़े में छोड़ते हुए का एक वीडियो भी शेयर की है।

Cheetah In Kuno National Park
Cheetah In Kuno National Park

कुल 748 वर्ग किलोमीटर में है कूनो नेशनल पार्क
मध्य प्रदेश के श्योरपुर और मुरैना जिले में कूनो नेशनल पार्क है। यह विंध्याचल पर्वत श्रृंखला पर बसा हुआ है। साल 2018 में इस पार्क को राष्ट्रीय पार्क का दर्जा मिला था।
मध्य प्रदेश का कुनो राष्ट्रीय पार्क को सभी वन्यजीव प्रेमियों और उत्साही लोगों के लिए अच्छा माना गया है। यहां आपको विशाल घास के मैदानों में दर्जनों की संख्या में घास चरते हुए वन्यजीव मिल सकते हैं। यहां के कुछ घास के मैदान तो कान्हा या बांधवगढ़ टाइगर रिजर्व में पाए जाने वाले मैदानों से भी बड़े हैं। यह व्यापक रूप से माना जाता है कि करधई के पेड़, जो यहां अधिक संख्या में पाए जाते हैं, मानसून वर्षा के आगमन से पहले ही वातावरण में नमी की उपस्थिति से ही हरा हो जाते हैं।

यह क्षेत्र जो आज एक राष्ट्रीय उद्यान बन गया है, लगभग 350 वर्ग किलोमीटर के पार्क के रूप में शुरू हुआ था और एक पत्ती के आकार का था जिसके बीचों – बीच में एक रीढ़ की हड्डी की तरह कुनो नदी बहती रही। वहीं, अब इस क्षेत्र में 400 वर्ग किलोमीटर का भाग जोड़ कर इसे कुल 748 वर्ग किलोमीटर का राष्ट्रीय पार्क का दर्जा दे दिया गया है।

यह भी पढ़ेंः

नामीबिया से लाए गए चीतों के लिए आखिर क्यों चुना गया Kuno National Park? जानें वजह…

अंधविश्‍वास और आडंबर की जगह सच और नेकी पर दिया जोर, कार्तिक पूर्णिमा के मौके पर जानें Guru Nanak Dev जी से जुड़े किस्‍से

LEAVE A REPLY

Please enter your comment!
Please enter your name here